निर्माणाधीन पुल व खेत में बर्बाद फसल |
एचसीसी को करीब 35 करोड की क्षति का
अनुमान
किसानों को फसल क्षति से करोडों का हुआ
नुकसान
सोन
में आये ताजा बाढ ने करोडों का नुकसान दिया है। सोन पुल बन रही बिहार राज्य पुल
निर्माण निगम को ही करीब 35 करोड का नुकसना हो सकता है। निगम के लिए हिन्दुस्तान
कंस्ट्रक्शन कंपनी (एचसीसी) सोन पर दाउदनगर-नसरीगंज के बीच पुल बना रही है। इस पर
करीब पांच सौ करोड खर्च का प्राक्कलन बना था। अब यह राशि बढनी तय दिखती है। इसके
अलावा नवनेर से लेकर महम्मदगंज तक फैले करीब 500 एकड में लगी फसल को काफी क्षति
हुई है। इससे भी करोडों का नुकसान होने की आशंका है। किसान हलकान हैं कि उनके
भविष्य का क्या होगा। सपने चकनाचुर हो गये। शुक्रवार की रात आयी बाढ ने एचसीसी के
बेस कैंप में खलबली मचा दी थी। करीब 1500 टन का सिमेंट स्टाक है। इसमें पानी घुस
गया है। इसमे6 कितना बर्बाद हो गया यह बाद में पता चलेगा, जब पानी पुरी तरह उतर
जायेगा। कंपनी के प्रोजेक्ट मैनेजर एम.श्री निवास राव ने बताया कि अनुमानत: प्रथम
दृष्टया करीब 35 करोड की क्षति की आशंका है। निर्माण स्थल से लेकर बेस कैंप तक
काफी नुकसान हुआ है। फिलहाल जेनसेट चलने लायक नहीं रह गया है। दूसरा जेनरेटर चालु
कर बेस कैंप में पीने के पानी का इंतजाम किया जा रहा है। साफ-सफाई की जा रही है,
ताकि शीघ्र काम प्रारंभ किया जा सके। उधर किसानों को फसल का नुकसान हुआ है। खेतों
में बाढ ने बालु पहुंचाकर खेत बर्बाद कर दिया तो फसलों पर मिट्टी जम गयी जिससे वह
सड जायेगा। शब्जियों और धान की फसल को काफी नुकसान हुआ है।
बालु गंज में 13 घर क्षतिग्रस्त
बालुगंज में गिरा घर |
बाढ से
बालु गंज में 13 घरों को नुकसान पहुंचा है। बताया गया कि बाढ से देवरनिया देवी,
राम दुलार चौधरी, भरोसी चौधरी, विन्देश्वरी चौधरी, प्रकाश चौधरी, सुशीला कूवंर,
प्रदीप चौधरी, कैलाश चौधरी, दारोगा चौधरी, राम गोविन्द चौधरी, जिमेदार चौधरी,
फगुनी चौधरी व द्वारिक चौधरी के घरों को आंशिक क्षति पहुंची है। बाढ से प्रभावित
अन्य इलाकों में भी घरों में पानी घुसने की सूचना मिली थी, किंतु क्षति की कोई
सूचना फिलहाल नहीं उपलब्ध है। मिट्टी व फुस के घरों को अधिक नुकसान पहुंचा है।
शमशेरनगर में 44 किसानों को लाखों का
नुकसान
नर्सरी में लगा डेढ लाख पौधा हो गया
नष्ट
सोन के
बाढ ने शमशेरनगर के 44 किसानों को काफी क्षति पहुंचाया है। जिला पार्षद राम कृष्ण
कुमार उर्फ नन्हकु पांडेय, मुखिया अमृता कुमारी, प्रतिनिधि राजु कुमार, वार्ड
सदस्य रविरंजन कुमार ने बताया कि किसानों के पेड-पौधे के साफ फसलें मारी गयीं।
इनके द्वारा उपलब्ध सूची के अनुसार उमेश कुमार के लक्षमी नर्सरी को 11 कट्ठा में
लगा डेढ लाख पौधा नष्ट हो गया। इसके अलावा रमानंद सिंह, गिरिजानन्दन सिंह, शकलदीप
चौधरी, राघो चौधरी, सुनील सिंह, मुनारिक मिस्त्री, पुरन सिंह, राजेन्द्र सिंह,
विनेश्वर राम, विजय सिंह, अरुण सिंह, बलबीर सिंह, बेसलाल सिंह, बासुदेव चौधरी, राम
सरेख सिंह, युगल ठाकुर, परमानन्द सिंह, अजय सिंह, विष्णुपत सिंह, राधानन्द सिंह,
राम सुरेश सिंह, विनय सिंह, परिब महतो, प्रभु महतो, बीरेन्द्र सिंह, राम बालक
चौधरी, राशकल चौधरी, जगदम चौधरी, कुलदीप चौधरी, कलु पंडित, लालदेव पंडित, गंगा
चौधरी, रुपचन्द सिंह, सूर्यज्ञ सिंह, चन्द्रदेव महतो, विश्वनाथ सिंह, फेकन सिंह, दुधनाथ
सिंह, जगदीश सिंह, महेश सिंह, भगवान प्रसाद वर्मा, भगवान चौधरी व मुनी चौधरी को
लाखों की क्षति हुई है। किसी के धान खराब हो गये तो किसी की शब्जियां बह
गयीं।
किसानों को मिले फसल बर्बादी का मुआवजा
बाढ क्षेत्र का निरीक्षण करते मुख्य पार्षद व जिला पार्षद
|
जिनके आवास गये उनको
मिले इन्दिरा आवास
बाढ
ग्रस्त इलाके में जितनी क्षति किसानों और आम नागरिकों को हुई है, उनको मुआवजा
मिलना चाहिए। यह मांग कई नेताओं ने किया है। नगर पंचायत के मुख्य पार्षद परमानन्द
प्रसाद, उप मुख्य पार्षद कौशलेन्द्र कुमार सिंह, ईओ विपिन बिहारी सिंह ने नगर
पंचायत क्षेत्र का दौरा किया। जिला पार्षद राम कृष्न कुमार उर्फ नन्हकु पांडेय ने
अपने और सरोज देवी ने राजद जिलाध्यक्ष कौलेश्वर यादव के साथ अपने क्षेत्र का दौरा
किया। डीहरा मुखिया जयकेश पासवान ने अपने पंचायत क्षेत्र का दौरा कर क्षति का जयजा
लिया। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिसद ने भी जायजा लिया। बाढ पीडितों से मिलकर
उन्हें तत्काल सहयोग किया। कॉलेज अध्यक्ष आर्य अमर केशरी, प्रदेश मंत्री दीपक
कुमार, नगरमंत्री रविशंकर कुमार, पूर्व नगर सहमंत्री सह ज्ञान ज्योति शिक्षा
केंद्र के निदेशक चंचल कुमार मिश्रा, नगर सहमंत्री चंदन कुमार, बसन्त बादल, तेज
प्रताप, गोल्डन कुमार शाह, धीरज कुमार, चुनचुन मिश्रा, संजीत कुमार, सुभाष यादव,
आकाश कुमार, दीपक मिश्रा शामिल रहे। सबने कहा कि किसानों को भारी क्षति हुई है।
उन्हें मुआवजा मिलना चाहिए। सरकार इनका आकलन कराये और क्षतिपूर्ति करे। किसान
बर्बाद हो गये हैं और इनको पुन: उठ खडा होने के लिए जिस संबल की आवश्यक्ता है वह
सरकार मुआवजा देकर ही पूर्ति कर सकती है। जिन के घर ध्वस्त हुए हैं उनको इन्दिरा
आवास मिलना चाहिए। नेताओं ने कहा कि सरकार गरीबों को आर्थिक मदद कर उन्हें फिर से
कृषि उत्पादन के लिए प्रोत्साहित करे।
बाढ पीडितों से मिलते अभाविप कार्यकर्ता |
मुआवजे पर एसडीओ बोले--
कराया जाएगा क्षति का आकलन
बाढ से
त्रस्त किसानों व अपना घर क्षतिग्रस्त कर चुके लोगों के लिए एसडीओ राकेश कुमार ने
कहा है कि क्षति का आकलन कराया जायेगा। सर्वे होगा। प्रतिवेदन तैयार कर सरकार को
भेजा जाएगा। कहा कि जितना संभव हो सकेगा प्रशासन मुआवजा दिलाने का प्रयास करेगा।
राहत के नियमों के तहत जितना संभव होगा मुआवजा मिल सकता है, उसे दिलाने का प्रयास
किया जायेगा।
खतरा नहीं, घट रहा जलस्तर
सोन में जलस्तर घटने लग है। अब खतरे की स्थिति
नहीं है। फेसबुक व ह्वाट्सएप पर सोन में बडी मात्रा में पानी छोडे जाने की सूचना
पुष्ट नहीं है। सक्षम अधिकारियों ने इससे असहमति जाहिर की है और बताया कि खतरे की
स्थिति नहीं है। अफवाहों पर ध्यान न दें। सूत्रों के अनुसार यदि सोन जलग्रहण
क्षेत्र में बारिश नहीं होती है तो इन्द्रपुरी बरज से अधिक पानी नहीं छोडा जायेगा।
बताया गया कि यहां से अभी 3.50 लाख क्युसेक पानी छोडा जा रहा है। यह निरंतर बना
रहेगा। इससे अधिक डिस्चार्ज तभी होगा जब बारिश काफी होगी।
No comments:
Post a Comment